मेलबर्न: ऑस्ट्रेलिया के तेज गेंदबाज मिशेल स्टार्क (Mitchell Starc) बायो बबल (Bio Bubbles) में खिलाड़ियों के मानसिक स्वास्थ्य को लेकर चिंता जताने वाले खिलाड़ियों की लिस्ट में शामिल हो गए हैं और उनका कहना है कि लंबे समय तक ऐसी पाबंदियों के बीच रहना ‘व्यावहारिक’ नहीं है.
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दुनिया भर में फैली कोरोना वायरस (Coronavirus) महामारी के बीच क्रिकेट का आयोजन जैविक रूप से सुरक्षित माहौल में किया जा रहा है और निकट भविष्य में स्थिति में सुधार होने की संभावना भी नहीं है. दुनिया भर के टॉप क्रिकेटर अगस्त से यूएई में बायो बबल में रहकर आईपीएल 2020 (IPL 2020) में हिस्सा ले रहे हैं और जब वो आगामी टूर्नामेंट्स में अपने देश की टीमों की तरफ से खेलेंगे तो उन्हें फिर जैविक रूप से सुरक्षित माहौल में रहना होगा.
10 नवंबर को आईपीएल फाइनल के बाद भारतीय टीम ऑस्ट्रेलिया के लंबे दौरे पर रवाना होगी. भारतीय टीम के साथ स्टीव स्मिथ, पैट कमिंस, जोश हेजलवुड और डेविड वॉर्नर जैसे आस्ट्रेलिया के टॉप क्रिकेटर भी रवाना होंगे जो विभिन्न आईपीएल टीमों का हिस्सा हैं.
स्टार्क ने कहा, ‘ये लंबे वक्त तक चलने वाली जीवनशैली नहीं है. आप होटल के कमरे में रह रहे हैं और बाहरी दुनिया से कोई संपर्क नहीं है. कई खिलाड़ियों ने अपने परिवारों या अपने बच्चों को लंबे समय तक नहीं देखा है, आईपीएल में खेलने वालों के साथ ऐसा है.’ अन्य खिलाड़ियों में इंग्लैंड की टीम आईपीएल खत्म होने के 15 दिनों के भीतर सीमित ओवरों के 6 मैचों के लिए दक्षिण अफ्रीका जाएगी जबकि वेस्टइंडीज को न्यूजीलैंड के दौरे पर रवाना होना है.
स्टार्क ने बायो बबल के मॉडल पर सवाल उठाते हुए कहा, ‘यह मुश्किल स्थिति है- हमें क्रिकेट खेलने को मिल रहा है इसलिए हम अधिक शिकायत नहीं कर सकते लेकिन खिलाड़ियों, स्टाफ और अधिकारियों की बेहतरी को देखते हुए आप जैविक रूप से सुरक्षित माहौल में कब तक रह सकते हो?’ इससे पहले भारतीय कप्तान विराट कोहली के अलावा इंग्लैंड के कप्तान इयोन मोर्गन और वेस्टइंडीज के कप्तान जेसन होल्डर भी खिलाड़ियों के मानसिक स्वास्थ्य को लेकर चिंता जता चुके हैं.
(इनपुट-भाषा)